यामिम नोराइम
यामिम नोराइम, जिसे "डर के दिन" भी कहा जाता है, यहूदी धर्म में एक महत्वपूर्ण समय है। यह अवधि रोश हशनाह (यहूदी नववर्ष) से शुरू होती है और यौम किपुर (क्षमा का दिन) पर समाप्त होती है। इस समय के दौरान, यहूदी लोग आत्म-विश्लेषण करते हैं और अपने कार्यों के लिए क्षमा मांगते हैं।
इस अवधि में प्रार्थना, उपवास और तौबा का विशेष महत्व होता है। यामिम नोराइम का उद्देश्य व्यक्तिगत सुधार और आध्यात्मिक विकास को बढ़ावा देना है। यह समय समुदाय के साथ जुड़ने और एक-दूसरे के प्रति दया और सहानुभूति दिखाने का भी अवसर प्रदान करता है।